स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए डीएम ने कड़ा रुख अपनाते हुए स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि प्रत्येक स्वास्थ्य केन्द्र पर उपलब्ध दवाओं की वाल पेंटिंग कराई जाए और पर्याप्त उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चत की जाए। इसमें किसी प्रकार की शिथिलता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। बुधवार को कलेक्ट्रेट स्थित सभाकक्ष में जिलाधिकारी दीपा रंजन ने जिला स्वास्थ्य समिति की बैठक में विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान एवं दस्तक अभियान की गहन समीक्षा की। उन्होंने कड़े तेवर अपनाते हुए निर्देश दिए कि आकस्मिक चेकिंग के दौरान सीएचसी एवं पीएचसी में जनता की सुविधाओं का ध्यान न रखते हुए व्यवस्थाएं चाक-चौबंद नहीं मिलीं तो दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने प्रत्येक ब्लॉक स्तर पर पांच-पांच प्रसव केन्द्र और स्थापित किए जाने हेतु मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि यहां भी पर्याप्त व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं।
बता दें कि डीएम के निर्देश पर सभी ब्लॉकों में पांच-पांच प्रसव केन्द्र पहले से ही क्रियाशील हैं। अब प्रत्येक ब्लॉक में 10-10 प्रसव केन्द्र होने से गर्भवती महिलाओं को जिला स्तर तक नहीं दौड़ना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि जो प्रसव केन्द्र सक्रिय नहीं हैं उनको तत्काल चालू किया जाए।
कोविड-19 के द्वितीय टीकाकरण के लिए विशेष अभियान चलाकर वंचित लोगों का टीकाकरण किया जाए। प्रत्येक टीम का लक्ष्य निर्धारित उसकी मॉनिटिंग की जाए। संचारी रोग नियंत्रण के अन्तर्गत टीकाकरण अभियान में तेजी लाई जाए। नवजात शिशुओं के टीकाकरण का काम भी वरियता के आधार पर पूर्ण करें। टीकाकरण में लगी स्टाफ नर्स से किए गए कार्य का प्रमाण पत्र लिया जाए। अच्छा कार्य करने वाली नर्सां को सम्मानित किया जाए तथा कार्य की ओर ध्यान न देने वाली नर्सों को दण्डित किया जाए। उन्होंने निर्देश दिए कि जननी सुरक्षा योजना अर्न्तगत लम्वित भुगतान का तत्काल भुगतान सुनिश्चित किया जाए। गर्भवती महिलाओं की प्रारंभिक जांचों में कोई शिथिलता न बरती जाए। संचारी रोग नियंत्रण अर्न्तगत जिला स्तरीय 14 अधिकारियों से मांगा गया प्लान अतिशीघ्र प्राप्त किया जाए। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी ऋषिराज, मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ0 प्रदीप कुमार वार्ष्णेय सहित अन्य जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।
✍️ ब्यूरो रिपोर्ट आलोक मालपाणी बदायूं