प्रयागराज:उत्तर प्रदेश के 75 जिलों में एक भी अमान्य माध्यमिक स्कूल नहीं मिला है। यूपी बोर्ड के सचिव दिव्यकांत शुक्ल ने 30 मई, 15 जुलाई, और 04 अगस्त को सभी जिला विद्यालय निरीक्षकों से अवैध रूप से संचालित अमान्य विद्यालयों के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई के निर्देश दिए थे। हालांकि सभी डीआईओएस ने रिपोर्ट भेजी है कि उनके जिले में कोई भी अमान्य विद्यालय संचालित नहीं है। यह स्थिति तब है जब जनप्रतिनिधियों एवं विभिन्न संगठनों ने शासन में शिकायत की है कि जिलों में अमान्य स्कूल संचालित किए जा रहे हैं।
माध्यमिक शिक्षा निदेशक डॉ. महेन्द्र देव ने शुक्रवार को भेजे पत्र में नाराजगी जताई है। सभी डीआईओएस को फिर से निर्देशित किया है कि यह सुनिश्चित करा लें कि उनके जिले में कोई भी गैर मान्यता प्राप्त विद्यालय संचालित नहीं हो रहा है। न ही ऐसी गैर मान्यता प्राप्त संस्था द्वारा अनधिकृत रूप से यूपी बोर्ड के मान्यता प्राप्त स्कूलों में छात्रों का प्रवेश कराने का कुप्रयास कराया जा रहा है। यदि किसी अनधिकृत संस्था के माध्यम से विद्यालय संचालन हो रहा है तो तत्काल उस संस्था या विद्यालय के विरूद्ध कार्रवाई की जाए।
पुनः निरीक्षण के आदेश
डीआईओएस सभी विद्यालयों का औचक निरीक्षण कर गहनता से यह भी जांच करें कि सभी हाईस्कूल तथा इंटरमीडिएट तक मान्यता प्राप्त संस्थाओं में केवल अहं छात्र- छात्राओं का ही प्रवेश मान्य वर्ग/विषयों में लिया गया है। अपने जिले में निरीक्षण आख्या 30 सितंबर तक यूपी बोर्ड के सचिव को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। इसके बाद भी अमान्य विद्यालय संचालित पाए जाएंगे तो संबंधित डीआईओएस पर कार्रवाई की जाएगी।