गुड टच और बैड टच में अंतर ज़रूरी है बच्चों को समझाना।
रोहित सेठ
आज आदमपुर कमलगट्टा प्राथमिक विद्यालय में युवा फाउंडेशन के सदस्यों ने जागोरे।
मुहिम के अंतर्गत विद्यालय में उपस्थित सभी बच्चों को गुड टच औरबैड टच के बारे में जानकारी दिया, खेल खेल में बच्चों से जानने की कोशिश की,की कहां उनको छूना सही है और कहां गलत यह फर्क बहुत जरूरी है बच्चों को समझाना ताकि वह अपने आप को सुरक्षित रख सके।
समाज में हर तरफ महिलाओं की सुरक्षा को लेकर हाहाकार मचा हुआ है आए दिन मासूम बच्चियों के साथ दुष्कर्म जैसी घटनाएं हमे देखने को मिल रही हैं महिलाएं और बच्चियां इस वक्त अपने आप को कही भी सुरक्षित महसूस नहीं कर रही हैं इस वक्त समाज में सबसे विकट परिस्थिति का दौर है जहां हमारी मातृ शक्तियों और मासूम बच्चियां सुरक्षित नहीं है जिसमें लोगों को मिल करके आवाज उठानी होगी जागरूकता लाना होगा तब जाकर लोगों की मानसिकता में बदलाव आएगी।
कोलकाता में डॉक्टर के साथ जिस तरीके से बर्बरता के साथ घटना को अंजाम दिया गया वह पूरे समाज को झकझोर कर रख दिया है आए दिन महिलाओं को जबरदस्ती खींच कर के ले जाना उनके साथ दुष्कर्म करना यह साबित करता है कि महिलाओं को कुछ गंदे नजरिया के लोग मात्र हवस बुझाने का जरिया समझते हैं।
हर घर में एक बेटी है हर घर में एक बहन है अपनी बहन बेटियों की सुरक्षा के लिए अपने समाज की बहन बेटियों की सुरक्षा के लिए लिए मिलकर आवाज उठाते हैं
जागो रे अभी नहीं तो कभी नहीं*क्योंकि महिलाओं की सुरक्षा में सम्मान हमारा प्रथम दायित्व है