मंडलायुक्त की अध्यक्षता में वरुणा नदी में दूषित जल प्रबंधन हेतु बैठक॥
रोहित सेठ
वाराणसी। मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा की अध्यक्षता में वरुणा नदी में दूषित जल के प्रबंधन हेतु बैठक आहूत की गयी जिसके हेतु नोडल जलनिगम शहरी को नियुक्त किया गया है। वरुणा नदी में प्रवाहित हो रहे नालों की टैपिंग, एसटीपी निर्माण, सीवरेज निर्माण के कार्यों हेतु यूपीपीसीएल तथा सिंचाई विभाग को जिम्मेदारी सौंपी गयी है। उक्त के संबंध में विभिन्न बिंदुओं को रखा गया:-
वरुणा नदी के किनारे पूर्व में स्थापित इंटरसेप्टर सीवर लाइन / चैम्बर की मरम्मत व डिसिल्टिंग का कार्य किये जाने के संबंध में बताया गया की चिन्हित कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल द्वारा अभी तक कोई तैयारी नहीं की गयी है तथा ओवरफ्लो, डिसिल्टिंग, चैम्बर सफाई इत्यादि के संबंध में भी अभी तक यूपीपीसीएल द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गयी है जिसके संबंध में शासन को अवगत कराया जायेगा।
वरुणा नदी में प्रवाहित होने वाले नालों की टैपिंग एवं एसटीपी निर्माण के संबंध में बताया गया की नमामी गंगे तथा जलनिगम ग्रामीण द्वारा दीनापुर एसटीपी की वर्तमान क्षमता 80 एमएलडी से बढ़ाकर 220 एमएलडी किये जाने के संबंध में 1182 करोड़ की परियोजना हेतु 2 जुलाई को हेडक्वार्टर भेजी गयी थी जो वर्तमान में एनएमसीजी में लंबित है तथा दुर्गा नाला की 55 एमएलडी क्षमता को बढ़ाने हेतु अप्रैल 2022 से परियोजना एनएमसीजी में लंबित है।
वरुणा नदी के दोनों किनारों पर पंपिंग स्टेशन बनाकर इंटरसेप्टर सीवर को गोईठहाँ एसटीपी एवं दीनापुर एसटीपी पर डायवर्जन की कार्रवाई किये जाने के संबंध में बताया गया की उक्त के संबंध में 14 जुलाई को 63 करोड़ की डीपीआर हेतु नगर विकास विभाग ने सैध्दांतिक सहमति दे दी है। जमीन हस्तांतरण की प्रक्रिया पूरी करते हुए अगले एक महीने में डीपीआर स्वीकृत करा लिया जायेगा तथा पंपिंग स्टेशन निर्माण को डेढ़ वर्ष में पूरा किया जायेगा।
वरुणा नदी में जल जमाव से उत्पन्न मच्छरों की समस्याओं से निदान हेतु सिंचाई विभाग द्वारा बताया गया की 6 मई से 3 जून के बीच सौ क्यूसेक तथा 15 व 16 जुलाई को 100 क्यूसेक पानी वरुणा नदी में छोड़ते हुए उक्त के संबंध में कार्रवाई की गयी है।
प्रस्तावित कार्यों के समन्वय एवं हस्तांतरण किये जाने के संबंध में भी बैठक में आवश्यक कार्रवाई करने हेतु निर्देशित किया गया।
बैठक में अपर नगर आयुक्त, जलनिगम शहरी, जलनिगम ग्रामीण, नमामी गंगे, सिंचाई विभाग, प्रदूषण समेत विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।