निष्पक्ष पत्रकारिता FAIR JOURNALISM/ पत्रकारिता में पत्रकारों से अपील
पत्रकारिता में निष्पक्षता का अर्थ है किसी मुद्दे के सभी पक्षों की खोज करना और निष्कर्षों की सटीक रिपोर्टिंग करना। एक पत्रकार के रूप में आपका दायित्व है कि आप अपने स्वयं के उद्देश्यों की जांच करें, और यह सुनिश्चित करें कि आपकी व्यक्तिगत भावनाएं आप जो रिपोर्ट करते हैं, उसमे प्रतिलक्षित ना हों। आपको यह सुनिश्चित करने के लिए उपयोग की जाने वाली भाषा और लहजे के बारे में भी सावधानी से सोचने की आवश्यकता है कि यह तथ्यों का गलत और अनुचित प्रतिनिधित्व नहीं करता है। आपका काम सार्वजनिक बहस को सूचित करना है, उस बहस में हेरफेर नहीं करना है। आप जनता के लिए काम कर रहे हैं, अपने स्वार्थ के लिए उनका इस्तेमाल नहीं कर रहे हैं। एक पत्रकार के पास स्रोत और सत्यापित तथ्यों को प्रस्तुत करने के अलावा और कोई प्रेरणा नहीं होनी चाहिए। आपके पास वांछित परिणाम नहीं होना चाहिए। पत्रकारिता हमारे जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह सिर्फ इस डिजिटल युग में ही नहीं बल्कि काफी पुराने समय से ही हमारे दैनिक क्रियाकलाप के एक अंग के रूप में अपनी जगह बनाता रहा है पत्रकार वह है जो कोई खबर को बिना तोड़ मरोड़ कर, निष्पक्ष और सटीक जानकारी को आम जन तक पहुँचाये। उसकी कलम से लिखी खबर जनहित में हो। सामान्य शब्दों में यदि कहें तो पत्रकारिता ‘समाचार और सूचना एकत्र करने, मूल्यांकन करने, बनाने और प्रस्तुत करने की गतिविधि है।’ एक पत्रकार वह व्यक्ति होता है जिसका काम समाचार एकत्र करना और उसके बारे में समाचार पत्रों, पत्रिकाओं, टेलीविजन या रेडियो के लिए लिखना है।’ हम यह कह सकते हैं कि पत्रकार Storytellers होते हैं। वे सामाजिक मुद्दों और राजनीति से लेकर खेल और मनोरंजन तक हर चीज के बारे में समाचार लिखते और रिपोर्ट करते हैं। जिसकी कलम बिकाऊ ना हो, उसने सच्चाई लिखने, बोलने का संकल्प लिया हो। जो निष्पक्ष हो, सटीक हो। यही एक पत्रकार की देशभक्ति है। निष्पक्ष का अर्थ है कि पत्रकार किसी भी खबर का तर्क दोनों तरफ से जनता तक पहुँचाये, और उसमें पत्रकार के खुद के विचार की बू नहीं आनी चाहिए। पत्रकार आखिर लिखकर, बोलकर खबरों को लोगों तक पहुँचता है। लिखना और बोलना भी एक तरह की कला है, पत्रकारिता में स्वतंत्रता freedom in journalism एक बड़ी चुनौती है। सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि दुनिया भर में पत्रकारों को चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। वैसे इस क्षेत्र में चुनौतियों का सिलसिला कोई नई बात नहीं है। हम कह सकते हैं कि कारपोरेटर एवं सरकारी दबाव के बीच ethical journalism नैतिक पत्रकारिता करना आज के परिवेश में बड़ी समस्या बनकर उभरी है निष्पक्ष और निर्भीक खबरें पाठक तक पहुंचाना ही पत्रकारिता की खास पहचान है। नई अर्थव्यवस्था से पूर्व (1991) भी इस देश में पत्रकारिता थी, लोग लिखे पर विश्वास करते थे। कहावत भी थी सौ बकी एक लिखी। “प्रेस” शब्द को लोकतंत्र के चौथे स्तंभ fourth pillar of democracy के रूप में देखा जाता था। स्वच्छ, निष्पक्ष व निर्भीक पत्रकारिता, clean, fair and fearless journalism से ही लोकतंत्र मजबूत होगा। आज पत्रकारिता का महत्व पहले से अधिक बढ़ गया है। पत्रकारिता समाज का दर्पण होता है। पत्रकार की लेखनी समाज की गंदगी को दूर करती है और विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। अंत में यह कहा जा सकता है कि सोशल मीडिया, फेसबुक, गूगल और ऐप्पल जैसे प्रौद्योगिकी प्लेटफार्मों पर आम लोगों की पंहुच को देखते हुए निष्पक्षता पर स्पष्ट दिशानिर्देश विकसित करने की आवश्यकता होगी।