औरैया। बीते दिन देर शाम को शहर कोतवाली में एक गंभीर मामले में पहुंचे अपर पुलिस अधीक्षक दिगम्बर सिंह कुशवाह को सदर कोतवाल ने सम्मान देना उचित नही समझा और अपनी कुर्सी पर बैठे रहे, जबकि कोतवाली में आम जनता के बीच एएसपी को खड़े-खड़े ही वार्ता करनी पड़ी। वहीं अपने मद में चूर दिखे उपनिरीक्षक पंकज मिश्रा।
सोमवार की देर शाम एक मामले में सदर कोतवाली में लोगों को हुजूम एकत्रित होने की सूचना मिली। मौके पर सदर कोतवाल अपनी टीम के साथ पहुँचे। मामले को बढ़ता देख पुलिस उच्चाधिकारी के तौर पर अपर पुलिस अधीक्षक दिगम्बर सिंह कुशवाहा कोतवाली पहुँचे। कोतवाली में पहुँचने पर दरोगा बने कोतवाल ने अपर पुलिस अधीक्षक को नजर अंदाज करते हुए कोई सम्मान नही दिया और अपनी कुर्सी पर बैठे रहे, जबकि एएसपी खड़े-खड़े ही वहां मौजूद आक्रोशित जनता को समझाने बुझाने व कार्रवाई का आश्वासन देते नजर आए। सदर कोतवाल की ऐसी हरकतें कैमरे में कैद की गई। जनपद में कई निरीक्षक होने के बाद भी उपनिरीक्षक पंकज मिश्रा को सदर कोतवाली का प्रभार दिया गया। जिसके चलते अपने अहंकार में डूबे दारोगा से बने कोतवाल ने अपने उच्चाधिकारी को सीट देना भी मुनासिब नही समझा। अब देखना होगा कि इस मामले पर एसपी चारु निगम कोई संज्ञान लेती है या आगे भी ऐसा देखना को मिलेगा। कुछ लोगों का कहना है कि इस प्रकार का नजारा पुलिस विभाग में पहली बार देखने को मिला है की कोई भी पुलिस अधिकारी अपनी बड़ी अधिकारी का भी सम्मान करना मुनासिब नहीं समझता है आखिर इसके पीछे कोतवाली का प्रभार देख रहे उप निरीक्षक का क्या मंतव्य है।